जम्मू कश्मीरदेश-विदेशपहलगाम में हुए आतंकी हमले

पति से मिलने की आस टूटी अटारी बॉर्डर पर BSF ने लौटाया भारतीय महिलाओं को

पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में शादी करने वाली कई भारतीय महिलाएं भी परेशानी में फंस गई हैं

By कार्यालय 

पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद पाकिस्तान में शादी करने वाली कई भारतीय महिलाएं भी परेशानी में फंस गई हैं। सरकार के आदेश के अनुसार शुक्रवार को अपनी ससुराल जाने के लिए भारत में अपने घरों से निकली कई महिलाओं को बीएसएफ ने अटारी-बाघा बार्डर पर रोक दिया।

बीएसएफ के मुताबिक सरकार ने 48 घंटे की समय सीमा दी थी-

इसमें करीब 287 पाकिस्तानी नागरिकों ने सीमा पार करके भारत छोड़ दिया, वहीं 191 भारतीय भी वापस अपने देश लौट आए। एचटी से बात करते हुए 38 वर्षीय भारतीय नागरिक वाशिन जहांगीर ने कहा कि उनका और उनकी बहन का ससुराल पाकिस्तानी शहर कराची में हैं। दो महीने पहले वह अस्थमा का इलाज कराने के लिए पाकिस्तान से अपनी बहन की बेटियों के साथ भारत आईं थीं। अब जब वह वापस जा रही थीं तो बीएसएफ ने भारतीय नागरिक होने के कारण उन्हें पाकिस्तान नहीं जाने दिया, जबकि उनकी भतीजियां, जो कि पाकिस्तानी नागरिक है और वीजा पर यहां आई थी, उन्हें वापस भेज दिया।

जहांगीर ने कहा मेरे पति और दो बेटे सीमा पार मेरा इंतज़ार कर रहे हैं-

मुझे पाकिस्तान ने आधी नागरिकता दी है। मेरे पास सभी दस्तावेज़ हैं, फिर भी मुझे रोका गया है।” उन्होंने कहा कि हमने 48 घंटों की मोहलत के बारे में सुना तो हमें राजस्थान के जोधपुर से अटारी तक पहुंचने में करीब 1 लाख रुपए का खर्चा आया है। अब हमें यहां पर रोक दिया गया है। हम पहलगाम में हुए हमलों को लेकर दुखी हैं, लेकिन हमारा हमलावरों से कोई संबंध नहीं है तो हमें क्यों परेशान किया जा रहा है।

ऐसा ही एक मामला राजस्थान की रहने वाली वाजिदा खान का भी है-

इनकी शादी भी पाकिस्तान में हुई है लेकिन इनके पास भारतीय पासपोर्ट देखकर बीएसएफ ने इनको बॉर्डर पर ही रोक दिया। उन्होंने कहा, “मेरी शादी 10 साल पहले पाकिस्तान में हुई थी। मेरे दो बच्चे हैं, जिनकी उम्र 7 और 8 साल है और दोनों ही पाकिस्तानी नागरिक हैं। मुझे रोके जाने के बाद मुझे उन्हें अकेले ही घर भेजना पड़ा वाजिदा ने कहा,

जिन लोगों ने निर्दोष लोगों की हत्या की है

उन्हें सजा मिलनी चाहिए, लेकिन हमारे जैसे आम लोगों को परेशान नहीं किया जाना चाहिए।” सूत्रों के मुताबिक सीमा पार के दूसरी तरफ के अधिकारियों ने भी पाकिस्तानी पासपोर्ट वाली भारत में ससुराल वाली महिलाओं को सीमा पार नहीं करने दिया है

सोनू विश्वकर्मा

लाले विश्वकर्मा, "गूँज सिंगरौली की" डिजिटल न्यूज़ पोर्टल के प्रधान संपादक और संस्थापक सदस्य हैं। उन्हें पत्रकारिता के क्षेत्र में कई वर्षों का अनुभव है और वे निष्पक्ष एवं जनसेवा भाव से समाचार प्रस्तुत करने के लिए जाने जाते हैं।

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